होली दहन:- सौहार्द और प्रेम का प्रतीक होलिका दहन(time of holi dahan) का पर्व हमेशा की तरह उलास के साथ फागुन मास के पूर्णिमा तिथि को मनाया जाएगा. महान ज्योतिषाचार्य सुमित रस्तौगी ने बताया है कि ऐसा कहा जाता है कि हिरण्यकश्यप का बेटा प्रहलाद भगवान नरसिंघ का भक्त था. प्रहलाद की भक्ति से उनके पिता काफी नाराज रहते थे. उन्होंने पुत्र प्रहलाद को मारने की योजना बनाई और बहन होलिका को वरदान मिला हुआ था कि तू कभी-भी आग में नहीं जलेगी इसके बाद हालिका प्रहलाद को गोद में बैठाकर अग्नि के हवाले कर दिया, परन्तु भगवान की ऐसी कृपा रही कि प्रहलाद को कुछ नहीं हुआ और होलिका जलकर भस्म हो गई तभी से होली पर्व को बड़े उलास के साथ मनाया जाता है.
इस बार होली: time of holi dahan
होली शुभ मूहर्त और 2021 की तारीख(holi dahan kab hai)
28 मार्च 2021 पूर्णिमा के दिन
29 मार्च 2021 पूर्णिमा तिथि समाप्त मध्य रात्रि 12.17
होलिका दहन का शुभ मुहूर्त
28 मार्च 2021 रविवार शाम 6.37 से 8.56
होलाष्टक
22 मार्च 2021 से लेकर 28 मार्च तक रहेगा.
होलाष्टक कब से है क्या होता है
होलाष्टक अवधि में सभी शुभ कार्य जैसे विवाह, मुंडन, मकान, वाहन और व्यापर प्रतिष्ठान का मुहूर्त करना इत्यादि शुभ कार्य निषेध रहते हैं. इस अवधि में लोगों को संभवत पूजा पाठ और दान इत्यादि कार्य करने से लाभ मिलता है.अगर कोई व्यक्ति गंभीर बीमारी से जूझ रहा हो तो उसे महामृत्युंजय मृत संजीवनी जैसे पाठ कराने से स्वास्थ्य में लाभ मिलता है. जितना हो सके इस अवधि में दान, पूजा-पाठ और जप करना चाहिए
इस बार होली खास क्यों: time of holi dahan
60 वर्षों उपरान्त इस बार होली दहन का उत्सव पर शनि, गुरु, मकर राशि में स्थित रहकर धर्मा कर्माधिपति योग बनाएगा. यह स्थिति एक बार पहले 2 मार्च 1961 को हुई थी और इस बार 60 वर्षो के बाद 28 मार्च 2021 होने जा रही है और 2 मार्च 1961 को गोवा पुर्तगालियों की कैद से आजाद हुआ था
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